राज्य का ऐसा बजट हो जिससे राजस्थान देश का पांचवीं अर्थव्यवस्था वाला प्रदेश बने
भरतपुर 21 जून|समृद्ध भारत अभियान संस्था के निदेशक सीताराम गुप्ता ने आगामी वित्त वर्ष के लिए बनाये जाने वाले बजट को समावेशी एवं रोजगारोन्मुखी बनाने के अनेक सुझाव मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा को भिजवाये है। उन्होंने भेजे गये सुझावों में कहा कि इन्हे समाहित करने के बाद राज्य देश का पांचवीं अर्थ व्यवस्था वाला प्रदेश बन जायेगा।
गुप्ता द्वारा मुख्य मंत्री को बजट के सम्बन्ध में भेजे गये सुझावों में कहा है कि आज राजस्थान देश की छठी अर्थ व्यवस्था वाला
प्रदेश है जिसे पांचवे स्थान पर लाने और प्रदेश की अर्थ व्यवस्था को 500 बिलियन डॉलर की बनाने के लिए बिना संसाधन वाली योजनायें जैसे – भामाशाह, आकांक्षी जिला व ब्लॉक कार्यक्रम, वर्षा जल संरक्षण, अपना गांंव अपना काम व आंगनवाडी कार्यकर्ताओं का वृक्षारोपण कार्य में सहयोग जैसे कार्य तत्परता से कराये जाये। इसके अलावा नई योजनायें जिसमें कृषि व पशुपालन को बढावा देने वाली, राज्य की जेलों में पुस्तकालयों की स्थापना, राष्ट्रीय राजमार्गो पर मिल्क व हनी पार्लर, एक जिला एक उत्पाद योजना का वेहतर संचालन आदि को प्रारम्भ किया जाये।
निदेशक ने सुझाव दिया है कि आज प्रदेश में बेराजगारी की सबसे बडी समस्या है जिसे पर्यटन विकास कर रोजगार के नये अवसर प्रदान कर कौशल विकास के द्वारा आवश्यकता के अनुरूप युवाओं को प्रशिक्षण देकर औद्योगिक विकास में प्रवासी भारतीयों का सहयोग लेकर काफी हद तक दूर किया जा सकता है। उन्होंने राज्य के चिकित्सा एवं शिक्षा संस्थानों के उन्नयन के सम्बन्ध में अनेक सुझाव भिजवाये है। उन्होंने कहा कि बजट ऐसा हो जिससे राज्य गरीबी से मुक्त, रोजगार युक्त व नारी एवं किसान सशक्त और कुपोषण मुक्त होना चाहिए।
गुप्ता ने अपने सुझावों में यह भी कहा है कि प्रत्येक वर्ष का बजट एक विकास क्षेत्र को समर्पित होना चाहिए जैसे प्रथम वर्ष का बजट शिक्षा व कौशल विकास के लिए दूसरे वर्ष का बजट स्वास्थ्य, तीसरे वर्ष का बजट कुपोषण दूर करने, चौथे वर्ष का बजट सडकों व जरूरी संसाधन मुहैया कराने व पांचवे वर्ष का बजट वर्षा जल संरक्षण को समर्पित होना चाहिए। इसके अलावा प्रति वर्ष का बजट राज्य में राष्ट्रीय स्तर के संसाधन खोलने की घोषणा भी होनी चाहिए।