जिला जल एवं स्वच्छता समिति की बैठक सम्पन्न

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गंगापुर सिटी, 12 मार्च | राज्य सरकार के निर्देशानुसार जिला कलक्टर डॉ. गौरव सैनी की अध्यक्षता में जिला जल एवं स्वच्छता समिति के सदस्यों की जल जीवन मिशन के तहत स्वीकृत समस्त योजनाओं, परियोजनाओं एवं उनकी क्रियान्विति के संबंध में बैठक आयोजित की गई|

बैठक के दौरान जिला कलक्टर ने बताया कि जिला गंगापुर सिटी में 37 ग्रामो में शत-प्रतिशत एफएचटीसी जारी किये जा चुकी हैं, जिनमें से 8 ग्राम राज्य स्तर पर रिपोर्टेड श्रेणी में ऑनलाईन दर्शित हैं और 4 ग्रामों को राज्य स्तर पर प्रमाणित कर दिया गया है। 29 ग्रामों के हर घर जल प्रमाण पत्र जारी किये जा चुके है, जो राज्य स्तर पर रिपोर्टेड श्रेणी में सम्मिलित किए जाने के लिए प्रक्रियाधीन हैं| उन्होने बताया कि वर्तमान में जिला गंगापुर सिटी में पेयजल आपूर्ति के लिए स्थापित उपकरणों हेतु 19 विद्युत कनेक्शन लम्बित है। जिन्हें जल्द से जल्द नियमानुसार जोड़ने हेतु जिला कलक्टर ने विद्युत विभाग के अधिशासी अभियंता रूप सिंह गुर्जर को निर्देशित किया|

डॉ. सैनी ने बताया कि ग्राम सांचौली, टुण्डीला एवं शहराकर उच्च जलाशय निर्माण हेतु आवश्यक भूमि के आवंटन हेतु लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। जिनमें से सहराकर में भूमि आवंटन का कार्य हो चुका है| वहीं सांचौली एवं टुण्डीला में नियमानुसार कब्जे हटवाकर भूमि आवंटन की प्रक्रिया को गति देने के लिए जिला कलक्टर ने संबन्धित अधिकारियों को निर्देशित किया| इस दौरान जिला कलक्टर ने जिले के समस्त स्कूल, आंगनबाड़ी केंद्र, ग्राम पंचायत भवन एवं स्वस्थ्य केन्द्रों पर अब तक लंबित नल कनेक्शन शीघ्र-अतिशीघ्र प्रदान करने के निर्देश भी दिये|

जन-स्वस्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के अधिशासी अभियंता ने जिला कलक्टर को अवगत कराया कि गंगापुर सिटी खण्ड के अन्तर्गत जल जीवन मिशन के तहत् निर्माण कार्य के दौरान 169 ग्रामों में ग्राम पंचायत व पीडब्ल्यूडी की रोड कटिंग की गयी है, जिनमें से 82 ग्रामों की रोड मरम्मत कर दी गई है। शेष ग्रामों में पाईपलाईन एवं अन्य कार्य पूर्ण होने के उपरान्त मरम्मत कार्य किया जाना प्रस्तावित है। वर्तमान में सड़को को मोटेरेवल कर दिया गया है| जिला कलक्टर ने उक्त शेष ग्रामों में भी सड़क मरम्मत कार्य को शीघ्र संपादित कराने के निर्देश दिये|

अधिशासी अभियंता ने बताया कि जिले में 84 जल योजनाओं के तहत 99 ग्रामों में कार्य पूर्ण कर लिए गए हैं| जिनमें नलकूपों एवं पम्प हाउसों पर विद्युत बिल की बकाया राशि एवं योजनाओं के पम्प चालकों के मानदेय का भुगतान ग्राम पंचायत की वीडब्ल्यूएससी द्वारा नही किया गया है। जिससे योजनाओं पर आये दिन पेयजल व्यवस्था प्रभावित हो रही है। उन्होने बताया कि इस सम्बंध में उनके द्वारा उच्च विभागीय अधिकारियों को अवगत करा दिया गया है| वहीं ग्राम पंचायत की वीडब्ल्यूएससी से समन्वय बिठाकर अग्रिम कार्यवाही सुनिश्चित की जा रही है|

बैठक के दौरान जल जीवन मिशन के तहत वर्तमान में स्वीकृत योजनाओं एवं कार्यादेश की वस्तुस्थिति, जल-सम्बन्धों व आवंटित लक्ष्यों की ब्लॉक वाईज प्रगति, शत – प्रतिशत एफ़एचटीसी वाले ग्रामों के “हर घर जल” प्रमाण पत्रों की प्रगति, पेयजल स्त्रोतों पर स्थापित विद्युत उपकरणों के लिए आवश्यक विद्युत सम्बन्ध, भूमि आवंटन के अभाव में लम्बित योजनाओं, निर्माण कार्य के दौरान ग्राम पंचायत व पीडब्ल्यूडी की रोड कटिंग व उसकी मरम्मत, पूर्ण की गई योजनाओं के सफल संचालन एवं संधारण सम्बन्धित बिन्दु जैसे पेयजल स्त्रोतों के बिजली बिलों का भुगतान, वी.डब्ल्यू.एस.सी. द्वारा योजना संचालन व संधारण में कार्यरत कार्मिकों का भुगतान, पूर्ण की गई योजनाओं को वीडब्ल्यूएससी को हस्तांतरण, हर घर जल प्रमाण-पत्र, नल जल मित्र भर्ती आदि से संबन्धित मुद्दों पर विस्तृत चर्चा की गई|

इस अवसर जिला परिषद के अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी शैलेन्द्र सिंह, जिला शिक्षा अधिकारी देवीलाल मीना सहित जिला जल एवं स्वच्छता समिति के अन्य सदस्य उपस्थित रहे|


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