मेवाड चैम्बर ने किया वर्तमान पावर कट का विरोध

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राज्य के ऊर्जा मंत्री, प्रमुख शासन सचिव (ऊर्जा) एवं अजमेर विद्युत वितरण निगम लि के प्रबंध निदेशक को भेजा प्रतिवेदन

भीलवाड़ा।मेवाड चैम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इण्डस्ट्री की ओर से राज्य के ऊर्जा मंत्री, प्रमुख शासन सचिव (ऊर्जा) एवं अजमेर विद्युत वितरण निगम लि के प्रबंध निदेशक को प्रतिवेदन भेजकर वर्तमान पावर कट का विरोध किया है। अजमेर विद्युत वितरण निगम लि ने ऑर्डर संख्या 775 दिनांक 25.06.2024 से उद्योगों के लिए रात्रि में 8 पी.एम. बजे से सुबह 3 ए.एम. बजे के लिए 7 घण्टे का पावर कट कर दिया है। इस कारण संकटग्रस्त उद्योग और ज्यादा परेशानी में आ गये है एवं दो शिफ्ट का कार्य प्रभावित हो रहा है। टेक्सटाइल एवं टायर सेक्टर कन्टीन्युअस प्रोसेस इण्डस्ट्री है, जो कि लगातार 24 घण्टे कार्यरत रहते है। साथ ही इन उद्योगों में बॉयलर एवं अन्य कई तकनीकी उपकरणों को पावर कट के समय बन्द नही किया जा सकता है। लेकिन राजस्थान में टेक्सटाइल इण्डस्ट्री को इस श्रेणी में वर्गीकृत नही किया हुआ है। जबकि अन्य राज्यों में टेक्सटाइल उद्योग को कन्टीन्युअस प्रोसेस इण्डस्ट्री के रुप में वर्गीकृत किया हुआ है। तत्कालीन मुख्यमंत्री की सितम्बर 2023 में भीलवाडा यात्रा के दौरान उनके सम्मुख इस विषय को उठाया गया था। मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार इस विषय पर तकनीकी अनुसंधान के लिए अधीक्षण अभियन्ता (एमएण्डपी) उदयपुर के संयोजन में एक कमेटी का गठन किया गया था। इस कमेटी ने भीलवाडा मंे औद्योगिक संगठनो एवं उद्योगों के साथ विचार विमर्श किया था एवं तकनीकी रुप से टेक्सटाइल उद्योगों को कन्टीन्युअस प्रोसेस इण्डस्ट्री माना था। भीलवाडा, चित्तौडगढ, बांसवाडा, डूंगरपुर में टेक्सटाइल सेक्टर में करीब ढाई से तीन लाख व्यक्तियों को प्रत्यक्ष रोजगार मिला हुआ है। पावर कट से उद्योगों में शिफ्ट बन्द होने से मजदूरों में काफी असंतोष हो रहा है। अतः टेक्सटाइल इण्डस्ट्री को कन्टीन्युअस प्रोसेस इण्डस्ट्री के रुप में पावर कट से मुक्त किया जाए। इसके साथ ही आपसे विनम्र निवेदन है कि राजस्थान में पावर की पूर्ण उपलब्धता होने तक उद्योगों द्वारा ऑपन एसेस से पावर खरीदने पर सभी तरह के शुल्क से मुक्त किया जाना चाहिए, जिससे उद्योग आवश्यकता पडने पर ऑपन एसेस से पावर खरीद सके। राजस्थान में कुछ सालों पूर्व तक ऑपन एसेस से पावर खरीदने पर कोई चार्जेज नही लगते थे, लेकिन उस समय पावर सरप्लस होने के कारण ऑपन एसेस से पावर खरीदने पर अत्यधिक व्हीलिंग एवं क्रोस सब्सिडी चार्जेज लगा दिये थे। जिससे वर्तमान में कोई भी उद्योग ऑपन एसेस से पावर नहीं ले पा रहा है, एवं साथ ही सरकार को भी ऑपन एसेस से पावर खरीदने पर किसी तरह का राजस्व नही मिल रहा है। उद्योगों द्वारा ऑपन एसेस से पावर खरीदने पर लगाये गये सभी तरह के शुल्क से मुक्त किया जाना चाहिए, जिससे उद्योग आवश्यकता पडने पर ऑपन एसेस से पावर खरीद सके। टेक्सटाइल एवं टायर सेक्टर को कन्टीन्युअस प्रोसेस इण्डस्ट्री में वर्गीकृत किया जाए एवं इन उद्योगों को पावर कट से मुक्त रखा जाए।


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