सवाई माधोपुर, 15 अक्टूबर। राजस्थान सरकार के जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग (पीएचईडी) मंत्री कन्हैया लाल चौधरी की अध्यक्षता में मंगलवार को विभागीय अधिकारियों के साथ जल जीवन मिशन, अमृत 2.0 सहित जिले में संचालित विभिन्न पेयजल परियोजनाओं एवं पेयजल आपूर्ति के सफल संचालन के संबंध में कलेक्ट्रेट सभागार में समीक्षा बैठक आयोजित हुई।
जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी मंत्री ने कहा कि प्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री श्री भजन लाल शर्मा के नेतृत्व में राज्य सरकार पेयजल से जुड़ी हर समस्या के समाधान के लिए तत्पर है। राज्य के सभी नागरिकों को स्वच्छ पेयजल उपलब्ध करवाकर उनके जीवन स्तर को सुधार लाया जाएगा। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि आगामी परियोजनाओ की रूप रेखा भविष्य की आवश्यकताओं को ध्यान में रखकर तैयार की जाए ताकि जनता के पैसे का सदुपयोग कर पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चित की जा सके।
उन्होंने जल जीवन मिशन के तहत अवैध कनेक्शन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्यवाही करने के निर्देश अधीक्षण अभियंता भगवान सहाय मीणा को प्रदान किए। उन्होंने निर्माण कार्यो में गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए प्रत्येक जिले में एक मेटेरियल टेस्टिंग लैब बनवाने एवं जल जीवन मिशन के तहत क्षतिग्रस्त सड़कों की शीघ्र मरम्मत करवाने के निर्देश प्रदान किए है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री श्री भजन लाल शर्मा के नेतृत्व में पेयजल और सिंचाई के लिए भी हम हर स्तर पर प्रयास कर रहे हैं। वर्षों से अटके कार्यों को पूरा कर रहे हैं। हमारी सरकार बनने के कुछ ही दिनों के भीतर हमने संशोधित पार्वती-कालीसिंध-चंबल लिंक परियोजना (ईआरसीपी) के लिए एमओयू कर उस पर काम शुरू कर दिया है। वर्तमान बजट में जल जीवन मिशन के तहत गांवों को सतही जल के माध्यम से पेयजल उपलब्ध कराने के लिए 2 हजार 944 करोड़ रुपये की लागत से चम्बल नदी आधारित वृहद पेयजल परियोजना का कार्य हाथ में लिए जाने की घोषणा की गई है। चम्बल नदी आधारित वृहद पेयजल परियोजना के तहत लगभग 500 गांव और 5 कस्बे इसमें लाभान्वित होंगे, सवाई माधोपुर एवं पड़ौसी जिलों के क्षेत्र भी सम्मिलित हैं। ईआरसीपी परियोजना से पूर्वी राजस्थान के किसानों, मातृ शक्ति व आमजन के जीवन में सुखद बदलाव आएगा और गांव, खेत तथा घरों तक पर्याप्त जल की उपलब्धता सुनिश्चित होगी। इस परियोजना के सम्बंध में उन्होंने समयबद्ध सफल क्रियान्विति सुनिश्चित करने के लिए समय सीमा का चरणबद्ध रूप से निर्धारण करने हेतु जन स्वास्थ्य अभियान्त्रिकी के चीफ इंजीनियर को निर्देशित किया।
जलदाय मंत्री ने कहा कि बजट में शहरी क्षेत्र में पेयजल उपलब्ध कराने के लिए अमृत 2.0 योजना के तहत 5 हजार 180 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है जिससे आगामी 2 वर्षों में प्रदेश के 183 शहरों एवं क़स्बों में पेयजल व्यवस्था में सुधार हेतु कार्य किए जाएंगे। उन्होंने अमृत योजना के तहत तकनीकी स्वीकृति लेकर बौंली व सवाई माधोपुर शहरी क्षेत्र के लिए प्लान बनाकर दीपावली पूर्व निविदा जारी करने के निर्देश दिए।
परियोजनाओं में ना हो अनावश्यक विलम्ब, लापरवाही बरतने पर हो सख्त कार्रवाई – उन्होंने कहा कि प्रदेश में पेयजल एवं सिंचाई के लिए जल उपलब्धता राज्य सरकार की सर्वाेच्च प्राथमिकताओं में से एक है। उन्होंने विभागीय अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि जल संसाधन से जुड़ी परियोजनाओं की नियमित मॉनिटरिंग एवं क्रियान्वयन समयबद्ध रूप से सुनिश्चित किया जाए। जल जीवन योजना के अंतर्गत शेष रहे कार्यों का चयन आवश्यकता अनुरूप नहीं पाए जाने पर जनप्रतिनिधियों की उपस्तिथि में मौका मुआयना करें एवं परियोजनाओं के कार्य में अनावश्यक देरी करने वाले ठेकेदारों एवं अधिकारियों पर सख्त कार्रवाई की जाए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे अपने कार्यों में पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करें, साथ ही जल जीवन मिशन के कार्यों में गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखें।
पेयजल उपलब्धता पर सरकार गंभीर, वैकल्पिक उपायों पर हो विचार:- उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पेयजल समस्या के समाधान के लिए गंभीर है और ईआरसीपी परियोजना के तहत डूंगरी बांध का निर्माण होने तक जिले में पेयजल उपलब्धता के वैकल्पिक उपायों पर भी गंभीरता से विचार किया जाए। उन्होंने कहा कि सिंचाई विभाग के साथ समन्वय स्थापित कर भारजा नदी एनिकट लीकेज की जांच कर ठीक करवाया जाए। ताकि डूंगरी बांध तैयार होने तक शहर में पेयजल आपूर्ति की समस्या का समाधान हो सकें। उन्होंने ईसरदा प्रोजेक्ट से जुड़े अधिकारियों को परियोजना का कार्य निर्धारित समय अवधि में पूर्ण करना सुनिश्चित करने के निर्देश देते हुए कहा कि इसमें किसी तरह की कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
इस दौरान गंगापुर सिटी, करौली, हिण्डौन के जनप्रतिनिधियों से उनके क्षेत्र की समस्याओं के बारे में जानकारी प्राप्त कर संबंधित अधिकारियों को अवगत करवाते हुए शीघ्र समाधान के निर्देश दिए है।
बैठक में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राजकुमार कस्वा, एसडीएम अभिमन्यु सिंह कंुतल, जिलाध्यक्ष सुशील दीक्षित, पूर्व विधायक गंगापुर सिटी मानसिंह गुर्जर, पूर्व विधायक हिण्ड़ौन, चीफ इंजीनियर भरतपुर मोहन लाल मीना, अतिरिक्त चीफ इंजीनियर चम्बल परियोजना सुरेन्द्र शर्मा, अधीक्षण अभियंता सवाई माधोपुर भगवान सहाय मीणा, अधीक्षण अभियंता गंगापुर सिटी रामकेश मीणा, अधीक्षण अभियंता करौली आदि उपस्थित रहे।