पत्रकार शासन, प्रशासन व आमजन के मध्य एक सेतु के रूप में कार्य करें-ओएसडी डॉ मंजू
शाहपुरा|नवसृजित शाहपुरा जिले की पहली विशेषाधिकारी आईएएस डॉ मंजू का नगरपालिका शाहपुरा में नया कार्यालय बनाया गया है। हम आपको यहां बता दें कि अधिशाषी अधिकारी कार्यालय को विशेषाधिकारी के कार्यालय के रूप में यहां अस्थाई तौर पर परिवर्तित किया गया है। आईएएस डॉ. मंजू अब यही अपना नियमित तौर पर कार्य करेगी। नए कार्यालय में कार्यभार संभालने के बाद प्रेस क्लब शाहपुरा के पदाधिकारियों ने यहां पहुंचकर आईएएस डॉ मंजू का स्वागत अभिनंदन किया। क्लब अध्यक्ष चांदमल मूंदडा व महासचिव मूलचंद पेसवानी की अगुवाई में डॉ मंजू का मेवाड़ी पगड़ी, दुपट्टा पहनाकर स्मृति चिन्ह व गुलदस्ता भेंट कर स्वागत अभिनंदन किया गया। इस दौरान महासचिव मूलचंद पेसवानी ने प्रेस क्लब की स्मारिका व भगवद्गीता की पुस्तक भी भेंट की। पेसवानी ने यहां आईएएस डॉ मंजू को शाहपुरा के इतिहास के बारे में अवगत कराते हुए महत्वपूर्ण दस्तावेज भी उपलब्ध कराएं। इस पर डॉ मंजू ने पेसवानी का आभार जताया।
आईएएस डॉ मंजू ने यहां प्रेस क्लब पदाधिकारियों को शासन, प्रशासन व आमजन के मध्य एक सेतु के रूप में कार्य करने की अपील की जिस पर प्रेस क्लब के सभी पदाधिकारियों ने आईएएस डॉ मंजू को विश्वास दिलाते हुए हरसंभव शाहपुरा के विकास में सकारात्मक पत्रकारिता करने का आश्वासन दिया। पत्रकारों से बात करते हुए आईएस डॉ. मंजू ने बताया कि शाहपुरा में विशेषाधिकारी पद पर ज्वाइन करने के बाद उनकी पहली प्राथमिकता राज्य सरकार के नए जिले गठन, नोटिफिकेशन, कलेक्टर-एसपी कार्यालय तथा निवास के लिए अस्थाई तौर पर कार्यालय के लिए जगह देखना तथा स्थाई कार्यालय के लिए जमीन आवंटन का कार्य प्राथमिकता से किया जा रहा है। इसको लेकर तैयारियां तेज हो गई है और पूरा प्रयास किया जा रहा है।
मुख्य सचिव उषा शर्मा द्वारा राज्य के नवसृजित 15 जिलों के ओएसडी के साथ बैठक में क्या निर्णय हुए इस सवाल पर डॉ मंजू ने कहा कि की मैडम रेग्यूलर रिव्यु कर रहे हैं तथा राज्य से जो निर्देश मिलते हैं उस पर नियमित कार्य करके सभी आवश्यक व्यवस्थाएं की जा रही। नए कार्यालय में स्वागत अभिनंदन के दौरान प्रेस क्लब वरिष्ठ उपाध्यक्ष गणेश सुगंधी, सचिव भैरूलाल लक्षकार, कोषाध्यक्ष सूर्यप्रकाश आर्य, संगठन सचिव अनुज कांटिया, संयुक्त सचिव रमेश पेसवानी के अलावा उपखंड अधिकारी पुनित कुमार गेलड़ा व तहसीलदार रामकिशोर जांगीड़ भी मौजूद रहे।
Moolchand Peshwani