सीडीओ ने भूजल सप्ताह वैन को हरी झण्डी दिखाकर किया रवाना

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प्रयागराज। सीडीओ प्रयागराज गौरव कुमार ने शुक्रवार को भूजल सप्ताह वैन को हरी झण्डी दिखाकर चन्द्रशेखर आजाद पार्क के गेट न० तीन से रवाना किया।ज्ञातव्य कराते चले प्रत्येक वर्ष 16 जुलाई से 22 जुलाई तक पूरे प्रदेश में भूगर्भ जल सप्ताह का आयोजन किया जाता है और जल संचयन के बारे में लोगों को जागरूक किया जाता है। शुक्रवार को एक प्रभात फेरी पं०चन्द्रशेखर आजाद पार्क के गेट न०तीन से विकास भवन प्रयागराज परिसर तक निकाली गई एवं विकास भवन परिसर में जल है तो कल है के नारों में गूँजती हुई सेल्फी पॉइन्ट पर जाकर समाप्त हुई।सीडीओ प्रयागराज ने अपने उद्बोधन में कहा कि हम सभी को मिलकर भूजल अति दोहन पर अनावश्यक व्यर्थ जल को नही गवाना चाहिए और साथ ही साथ वर्षा जल के संचयन हेतु आवश्यक कदम उठाना चाहिए।इस अवसर पर उपस्थित सहायक अभियंता लघु सिंचाई कुमार गौरव ने अपने उद्बोधन में कहा कि वर्षा जल संचयन हेतु विभाग द्वारा बड़े-बड़े महाविद्यालयों, इण्टर कालेजों एवं हाई स्कूल विद्यालयों पर रेन वॉटर हार्वेस्टिंग सिस्टम स्थापित कर वर्षा जल का संचयन पाइप प्रणाली द्वारा जमीन के अन्दर स्थापित किया जा रहा है और साथ ही साथ बड़े-बड़े नालों में चेकडैम की स्थापना कर भूजल को रिचार्ज किया जा रहा है जिससे वॉटर लेवल सही दिशा एवं सही स्थान पर बना रहे।इस अवसर पर उपस्थित अवर अभियंता लघु सिंचाई संघ के अध्यक्ष प्रदीप अवस्थी ने अपने उद्बोधन में कहा कि जिले के प्रत्येक ब्लॉक के महाविद्यालयों/कॉलेजों में प्रत्येक वर्ष कुछ न कुछ रेन वॉटर हार्वेस्टिंग सिस्टम की स्थापना हो रही है साथ ही साथ तालाबों की खुदाई कर वर्षा जल का संचयन किया जा रहा है जिससे वॉटर लेवल सही स्थान पर बना रहे और भविष्य में जल हेतु किसी मुसीबतों का सामना न करना पड़े।इस अवसर पर उपस्थित बोरिंग टेक्नीशियन प्रयागराज संघ के जिला मंत्री राजेश तिवारी ने अपने उद्बोधन में कहा कि जल है तो कल है और जल ही जीवन है।हम सभी को मिलकर जल संचयन करना चाहिए जितने जल की आवश्यकता हो केवल उतने ही जल का प्रयोग करना चाहिए एवं अनावश्यक जल को व्यर्थ नही गवाना चाहिए।जिला मंत्री ने आगे यह भी कहा कि हम सभी को मिलकर वर्षा के जल को अपने-अपने छतों से गिरने वाले जल को संचयन करने हेतु 100 फिट बोर कराकर उसी से जोड़ देना चाहिए जिससे भूजल का स्तर अपने स्थान पर बना रहे या अपने छतों के जल को नाली के माध्यम से किसी बड़े जलाशय से जोड़ देना चाहिए।इस अवसर पर भूगर्भ जल विभाग के बहुत से अधिकारी/कर्मचारी,जिला विज्ञान क्लब के नोडल अधिकारी सहित लघु सिंचाई विभाग सहायक अभियंता,अवर अभियंता,कार्यालय स्टॉप सहित बहुत से सहायक बोरिंग टेक्नीशियन/बोरिंग टेक्नीशियन उपस्थित रहे।


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