ओउमानंदम् में दुर्गाष्टमी पर “दैवीय शक्ति जागरण यज्ञ” सम्पन्न
मणिपुर इजरायल फिलीपींस में महिलाओं से बर्वरता अमानवीय हैवानियत की पुनरावृत्ति रोकने को संकल्पित होने का पर्व है दुर्गाष्टमी -” यश”
जयपुर|“मातृशक्तिरेव जयते” कन्या पूजन मातृशक्ति जागरण एवं सम्मान के पर्व दुर्गाष्टमी का महत्व एकदेशीय नहीं सार्वदेशिक वैश्विक स्तर पर मानवीय मूल्यों की रक्षा के लिए है। उक्त कथन मानसरोवर के ओउमानंदम् में आर्य समाज जयपुर दक्षिण द्वारा दुर्गाष्टमी पर आयोजित “दैवीय शक्ति जागरण यज्ञ” को संबोधित करते हुए वैदिक चिंतक सार्वदेशिक आर्य प्रतिनिधि सभा के अंतरंग सदस्य यशपाल यश ने व्यक्त किए।
यश ने कहा कि मातृशक्ति नारी जाति के साथ बर्वरता अमानवीय हैवानियत शर्मशार करने वाली घटनाएं मणिपुर में हौं चाहे इजरायल फिलीपींस में दुर्गाष्टमी इनकी पुनरावृत्ति रोकने हेतु संकल्पित होने का पर्व है।
यश ने राजनीतिक स्वार्थ के लिए इन पर पर्दा डालने और परोक्षरूप से इन पर मौन रहने को घोर आध्यात्मिक सांस्कृतिक अपराध वताया है।
आर्य समाज जनता कालोनी के मंत्री ओ पी गुप्ता अधिशासी अभियंता महेन्द़सिंह धाकड श्रीमति मधु रानी ने दैवीय शक्ति जागरण और “नारी नर की जननी है” भावभरे भजन गीत कविता प़स्तुत की।