शाहपुरा में जिला बचाओ आंदोलन 89वें दिन भी जारी
शाहपुरा को पुनः जिला बनाए जाने की माँग को लेकर जारी संघर्ष थमने का नाम नहीं ले रहा है। शनिवार, 30 मार्च 2025 को जिला बचाओ आंदोलन के 89वें दिन भी संघर्ष समिति द्वारा उपखंड कार्यालय शाहपुरा के बाहर क्रमिक अनशन जारी रहा। इस अवसर पर पूज्य सिंधी पंचायत शाहपुरा के पदाधिकारियों और समाजजनों ने शांतिपूर्ण वाहन रैली निकालते हुए नारेबाजी की और आंदोलन को समर्थन देते हुए धरना स्थल पर पहुँचे।
रैली के पश्चात सिंधी समाज ने राज्यपाल के नाम संघर्ष समिति अध्यक्ष दुर्गा लाल राजोरा को ज्ञापन सौंपा, जिसमें शाहपुरा जिले को समाप्त किए जाने के निर्णय का विरोध किया गया और जिले की बहाली की माँग की गई।
इस रैली में सिंधी पंचायत अध्यक्ष मोहनलाल लखपतनानी, उपाध्यक्ष गंगाराम आसवानी, सचिव ओमप्रकाश थावानी, चुन्नीराम आसवानी, मूलचंद पेशवानी, राजकुमार वासवानी, रमेश पेसवानी, सुरेश वासवानी, लीलाराम वासवानी, शंकर ठारवानी, अशोक थारवानी, ईश्वर सामतानी, नरेश तोलानी, प्रदीप आसवानी सहित बड़ी संख्या में पुरुष सदस्य उपस्थित रहे।
वहीं, महिला सदस्यों में रेखा जिया भारती, रिया समतानी, कोमल आसवानी, कशिश थावानी, कंचन सामतानी, ज्योति सामतानी, कविता बजाजवानी, नम्रता लखपतनानी, रिया चंचलानी, कंचन नीतू सामतानी, तानिया बजाज सहित अनेक महिलाएँ धरने पर बैठीं और जिले की बहाली की माँग को मुखर किया।
संघर्ष समिति ने किया समाजजनों का पुष्पवर्षा से स्वागत–
संघर्ष समिति अध्यक्ष दुर्गा लाल राजोरा, महासचिव कमलेश मुंडेतिया, सदस्य रामेश्वरलाल सोलंकी, हाजी उस्मान मोहम्मद छिपा, सत्यनारायण पाठक, उदयलाल बेरवा, सूर्यप्रकाश ओझा, राजेन्द्र बोहरा, धनराज जीनगर, छोटू रंगरेज, मदन सर्वा, अजय मेहता, अभय गुर्जर एवं अभिभाषक संस्था उपाध्यक्ष गजेन्द्र प्रताप सिंह राणावत ने धरना स्थल पर पहुँचकर पुष्पवर्षा के माध्यम से समाजजनों का स्वागत किया।
न्यायालय में अगली सुनवाई 2 मई को—
संघर्ष समिति महासचिव कमलेश मुंडेतिया ने जानकारी दी कि जोधपुर उच्च न्यायालय में शाहपुरा जिले को समाप्त करने के निर्णय के विरुद्ध दायर जनहित याचिका पर 27 मार्च को सुनवाई हुई थी। राज्य सरकार को अपना पक्ष रखने के लिए कहा गया था, लेकिन महाधिवक्ता की ओर से जवाब तैयार न होने के कारण 2 मई की अगली तारीख नियत की गई है।
इस अवसर पर समिति अध्यक्ष दुर्गा लाल राजोरा, महासचिव कमलेश मुंडेतिया, सिंधी पंचायत अध्यक्ष मोहनलाल लखपतनानी, चुन्नीराम आसवानी, गंगाराम आसवानी एवं मूलचंद पेशवानी ने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि शाहपुरा की पहचान, अस्तित्व और विकास के लिए जिला बहाली अत्यंत आवश्यक है और यह आंदोलन तब तक जारी रहेगा जब तक सरकार जनभावनाओं के अनुरूप निर्णय नहीं लेती।