राज्य मंत्री ने खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग के कार्यों की समीक्षा करते हुए दिए आवश्यक दिशा-निर्देश

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प्रयागराज।राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) आयुष, खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग उ०प्र० डा० दयाशंकर मिश्र ‘दयालू’ ने मंगलवार को सर्किट हाउस के सभागार में आयुर्वेद, होम्योपैथ, यूनानी, खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग के कार्यों की विस्तृत समीक्षा करते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए है। उन्होंने आयुर्वेद विभाग की समीक्षा करते हुए अस्पतालों में जमीन, दवा की उपलब्धता, ओपीडी, हर्बल गार्डेन, प्रस्तावित 50 बेड के हॉस्पिटल की प्रगति के बारे में जानकारी लेते हुए कहा कि जो हॉस्पिटल किराये के भवन में संचालित हो रहे है, उनके लिए जमीन की उपलब्धता जल्द से जल्द करायी जाये और दवाओं की उपलब्धता बनाये रखने का विशेष ध्यान दें। उन्होंने कहा कि जहां पर ओपीडी अधिक है, वहां पर कम ओपीडी वाले स्थानों से दवाओं की पूर्ति कर बैलेंस बनाये रखने के साथ ही साथ यदि किसी क्षेत्र विशेष में किसी दवा की विशेष आवश्यकता हो, तो उस दवा की उपलब्धता वहां पर अवश्य बनाये रखी जाये। उन्होंने कहा कि जिन अस्पतालों में अपनी विभागीय जमीन उपलब्ध है, वहां पर हर्बल गार्डेन बनाये और उनमें हर्बल पौधे ही लगाये जाये। उन्होंने वृहद वृक्षारोपण अभियान में लगाये गये पौधों की देखभाल सुनिश्चित करने के लिए कहा है। मंत्री ने होम्योपैथ विभाग की समीक्षा करते हुए अस्पतालों हेतु सरकारी जमीन उपलब्ध कराये जाने के लिए आवश्यक कार्यवाही करने, हाईकोर्ट के होम्योपैथी अस्पताल में ज्यादा ओपीडी के दृष्टिगत दवाओं की डिमांड भेजे जाने एवं महाकुम्भ मेले के दृष्टिगत अस्थायी कैम्प हेतु अभी से तैयारी शुरू कर चिकित्सक, सहायक स्टॉफ व अन्य आवश्यकताओं की मांग किए जाने के लिए कहा है। उन्होंने युनानी कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ0 वसीम अहमद से कालेज में निर्माणाधीन कार्यों की प्रगति एवं ओपीडी के बारे में जानकारी प्राप्त करते हुए वहां पर लग रहे मैटेरियल की अपने स्तर से जांच कराते हुए गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए निर्देशित किया है। मंत्री ने बताया कि सरकार के द्वारा प्रदेश के सभी 19 नए मेडिकल कालेजों में स्मार्ट क्लास, मेस, हॉस्टल व फर्नीचर की व्यवस्था करने एवं संविदा के बजाय स्थायी कार्मिंक नियुक्त किए जाने हेतु आवश्यक कार्यवाही की जा रही है। उन्होंने आयुष विभाग के अधिकारियों को नकली दवाओं के बिक्री की सम्भावित दुकानों से दवाओं का सैम्पल एकत्र कर आवश्यक कार्यवाही करने के लिए कहा है। खाद्य सुरक्षा विभाग की समीक्षा करते हुए कितने सैम्पल लिए गए है, उसमें से कितने गुणवत्ता के मानक के अनुरूप मिले, कितने अधो मानक और कितने अनसेफ मिले, की जानकारी लेते हुए सम्बंधित अधिकारियों को निर्देशित किया कि उन्हीं स्थानों से सैम्पल कलेक्ट करें, जहां मिलावट की सम्भावना ज्यादा है। उन्होंने उन विधियों को जिनसे लोग स्वयं ही मसाले, तेल, घी आदि में मिलावट की जांच कर सकते है, उनका प्रचार-प्रसार कर लोगो को जागरूक करने के लिए कहा।मंत्री ने प्रयागराज मण्डल में निर्माणाधीन लैब की प्रगति के बारे में जानकारी लेते हुए सैम्पल कलेक्शन के साथ ही लैब में फेल हुए अनसेफ सैम्पलों के मामले में अग्रेत्तर कार्यवाही सुनिश्चित कराये जाने के लिए कहा है। उन्होंने दूध, खाद्य तेल व पीसे मसालों में मिलावट के मामलों जानकारी प्राप्त करते हुए इनकी लगातार सैम्पलिंग किए जाने व कार्यवाही करने के लिए निर्देशित किया है। उन्होंने सभी रेस्टोरेंटों में हाइजिन रेटिंग करवाने के साथ-साथ शैक्षिक संस्थाओं के हॉस्टलों में खाने की गुणवत्ता बनाये रखने के लिए ‘‘राइट टू ईट’’ गुणवत्ता हेतु निगरानी किए जाने के लिए कहा है। मंत्री ने कहा कि लोगो को यह भरोसा हो सके कि जो हम खा रहे है वह शुद्ध है, इसके लिए विभाग लगातार सैम्पल कलेक्शन की कार्यवाही करते रहे। उन्होंने खाद्य पदार्थों की सेल्फ लाइफ को बढ़ाने के लिए प्रयोग किए जाने वाले प्रतिबंधित कैमिकलों व फलों को पकाने के लिए कैल्शियम कबाईड का प्रयोग न होने पाये, इसके लिए आवश्यक कार्यवाही करने के लिए कहा है।औषधि प्रशासन विभाग के अधिकारियों को दुकानों के ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया को पारदर्शी बनाये जाने के साथ ही एक्सपायरी दवाओं की बिक्री पर रोक हेतु आवश्यक कार्यवाही करने के लिए कहा है। इस अवसर पर आयुर्वेद अधिकारी डॉ0 शारदा प्रसाद सहित अन्य सम्बंधित विभागों के अधिकारीगण उपस्थित रहे।


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