डीग 7 मार्च – कृषि विज्ञान केंद्र कुम्हेर, डीग में दो दिवसीय फसल कटाई उपरांत तकनीकी विषय पर किसानों के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया। वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ नवाब सिंह ने बताया कि केंद्रीय भंडारण निगम भरतपुर के द्वारा केंद्र पर किसानों को फसल कटाई के बाद थ्रेशिंग से पहले भी खेतों में चूहों एवं अन्य कीटों द्वारा नुकसान होता है। उन्होंने कहा कि इससे बचने के लिए गोदामों में अत्यधिक नमी नहीं होनी चाहिए। इसके साथ ही नए और पुराने अनाज को अलग-अलग रखना, बीज भंडारण के लिए साफ बोरों के प्रयोग करने के बारे में बताया। डॉक्टर दिनेश कुमार कच्छावा ने गेहूं, जो, चना ,मूंग, उड़द बाजरा ,ज्वार आदि फसलों के बीज में भंडारण के दौरान लगने वाले कीटों के विभिन्न लक्षणों के बारे में जानकारी दी। बीजों में लगने वाली फफूंद जनित बीमारियों एवं उनके प्रबंधन की तकनीकी जानकारी भी किसानों को दी गई। इसके साथ ही केंद्र एवं राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही किसान कल्याणकारी योजनाओं के बारे में भी बताया गया। प्रतिभागी किसानों को बीज भंडारण के लिए आयरन की कोठी जैविक खाद, एवं कृषि साहित्य प्रदान किया गया।