पांचना बांध से गंभीर नदी में पानी छोड़ने की मांग को लेकर ग्रामीणों ने पंचायत कर किया विरोध प्रदर्शन
बयाना, 27 अगस्त। करौली के पांचना बांध से गंभीर नदी में नियमित पानी छोड़ने की मांग को लेकर बयाना उपखंड के नहरा क्षेत्र के दर्जनों गांवों के ग्रामीणों ने जनसंपर्क करते हुए आंदोलन की मुहिम शुरू की है। इससे पहले पिछले सप्ताह ग्रामीणों ने भरतपुर जिला कलेक्टर और करौली जिला कलेक्टर को गंभीर नदी में पानी छुड़वाने की मांग को लेकर ज्ञापन भी सौंप थे। वहीं 6 माह पहले मुख्यमंत्री और मंत्रियों को भी ज्ञापन के माध्यम से अवगत कराया था। रविवार को महरावर गांव में हुई पंचायत में ग्रामीणों ने विरोध प्रदर्शन करते हुए कहा कि गंभीर नदी में पानी छोड़ने की मांग को लेकर सरकार के मुखिया सहित स्थानीय विधायकों, मंत्रियों और अफसरों को ज्ञापन देकर थक चुके हैं। लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। इससे नाराज ग्रामीण अब बड़े पैमाने पर आंदोलन का मन बना रहे हैं। इसके लिए गांव-गांव जाकर नुक्कड़ सभाएं कर विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। स्थानीय सामाजिक कार्यकर्ता साहब सिंह अड्डा और देवसेना प्रदेश सचिव उत्तम सिंह ठेकेदार ने बताया कि पिछले 30 सालों से सूखी पड़ी क्षेत्र की जीवनदायिनी गंभीर नदी को पुनर्जीवित करने के लिए आंदोलन की रूपरेखा तय करने के लिए ग्रामीणों को जागरुक किया जा रहा है। महरावर गांव में हुई ग्रामीणों की पंचायत में वक्ताओं ने कहा कि जबसे पांचना बांध बना है, तबसे गंभीर नदी पानी के लिए तरस गई है। गंभीर नदी के जरिए करौली और भरतपुर क्षेत्र में नदी के तटवर्ती 360 गांवों को पानी मिलता है। ग्रामीणों ने बताया कि जल्द ही उनकी मांग पर सुनवाई नहीं हुई तो रोड जाम जैसा आंदोलनात्मक कदम उठाना पड़ेगा। ग्रामीणों ने आगामी दिनों में रक्षाबंधन का त्यौहार नहीं मनाने और विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का बहिष्कार करने की चेतावनी दी है।
इस दौरान साहबसिंह अड्डा, उत्तमसिंह महरावर, हरज्ञान हवलदार, जिला परिषद सदस्य प्रतिनिधि बलवीर सिंह रीझवास, बृजेश अग्रवाल, सुमरन पीलवाड़, हाकिम सिंह मावई, फतेहसिंह महरावर, राजेश मूंडिया, राजवीर कटकड़ आदि कई लोग मौजूद रहे।